आगरा के डॉक्टरों का मुखिया बनने के चुनाव में घमासान, बाईपास और आवास विकास के डॉक्टरों में जुबानी जंग तेज
आगरा। ताज नगरी में डॉक्टरो के मुखिया बनने को लेकर मुकाबला दिन-ब-दिन गर्माता जा रहा है। चुनाव से पहले बाईपास क्षेत्र के वरिष्ठ डॉक्टर और आवास विकास क्षेत्र के युवा डॉक्टर के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर चरम पर है।
चुनाव 28 सितंबर को होना है, लेकिन चुनावी माहौल में यह विवाद संगठन की राजनीति को और तीखा बना रहा है।
आवास विकास वाले डॉक्टर का पलटवार
आवास विकास क्षेत्र के युवा डॉक्टर साहब ने बाईपास वाले डॉक्टर साहब पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि
डॉक्टरों के लिए भवन निर्माण के दौरान बाईपास वाले डॉक्टर साहब ने घपलेबाज़ी (धन में गड़बड़ी) की थी। आज भी कई दानदाता अपने चंदे की रसीदें मांग रहे हैं।”
उन्होंने आगे दावा किया कि
“इसी तरह की वजहों से बाईपास वाले डॉक्टर साहब को पहले भी प्रदेश के डॉक्टरों वाले समूह से निष्कासित किया गया था। इसके अलावा उनके खिलाफ चारित्रिक रूप से गलत आचरण के आरोप भी लग चुके हैं।”
इन गंभीर आरोपों से चुनावी जंग में नया मोड़ आ गया है और चिकित्सक समुदाय में सरगर्मी बढ़ गई है।
बाईपास वाले डॉक्टर का बचाव
इससे पहले बाईपास वाले डॉक्टर साहब ने आवास विकास क्षेत्र के युवा डॉक्टर पर डॉक्टरों वाले भवन निर्माण को लेकर झूठे और बेबुनियाद आरोप लगाने का पलटवार किया था। उनका कहना था कि भवन निर्माण 1993-97 में हुआ था, उस समय युवा डॉक्टर डॉक्टरों के समूह का हिस्सा भी नहीं थे। उन्होंने बताया कि उस समय का ऑडिटेड अकाउंट पास हो चुका है और आज भी वही PNB खाता संचालित हो रहा है।
उन्होंने यह भी कहा कि यह चुनाव कोई जंग नहीं बल्कि सेवा का अवसर है।
शांति पूर्ण चुनाव का दावा
कारगिल वाली लैब के डॉक्टर साहब ने कहा कि चुनाव शांति पूर्ण और सौहार्दपूर्ण तरीके से कराया जाएगा। उनका दावा है कि कार्यकारिणी बनने के बाद पूरी टीम एकमत होकर कार्य करती है।
28 सितंबर को होगा फैसला
चुनाव 28 सितंबर को होगा। लगातार बढ़ रहे आरोप-प्रत्यारोप ने इसे और रोचक बना दिया है। अब सबकी नजर इस बात पर है कि यह लोकतांत्रिक जंग किसके पक्ष में जाती है।